बाढ़ में गांव न हो नुकसान का शिकार!...एसडीएम ने बाढ़ संभावित गांव में राहत चौपाल लगाकर किया जागरूक
- alpayuexpress
- Jul 22, 2024
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बाढ़ में गांव न हो नुकसान का शिकार!...एसडीएम ने बाढ़ संभावित गांव में राहत चौपाल लगाकर किया जागरूक

मोहम्मद इसरार पत्रकार (उप संपादक)
जुलाई सोमवार 22-7-2024
गाजीपुर:- खबर गाजीपुर जिले से है जहां पर बाढ़ की संभावना को देखते हुए उपजिलाधिकारी स्तर से प्रशासन पूरी तरह से अलर्ट मोड में आ गया है। इसी क्रम में रविवार को बाढ़ की संभावना के बाद बाढ़ से ग्रसित होने की संभावना वाले गौरी गांव में एसडीएम रवीश गुप्ता ने संबंधित विभाग सहित आमजन की बाढ़ राहत चौपाल लगाई। जिसमें उन्होंने ग्रामीणों को बाढ़ के दौरान बरती जाने वाली सावधानियों आदि के बाबत जागरूक किया। कहा कि बाढ़ से हर व्यक्ति को बचाने के लिए प्रशासन व सरकार पूरी तरह से मुस्तैद है। इसके लिए आज से नहीं, बल्कि कुछ महीने पहले से ही हमने तैयारियां शुरू कर दी थीं। इसमें किस तरह की समस्याएं आएंगी, इसके बाबत चर्चाएं कर ली गई थीं। एसडीएम रवीश गुप्ता ने कहा कि अति संवेनदनशील, संवेदनशील व न्यूनतम संवेदनशील गांवों की श्रेणियों में बाढ़ से प्रभावित होने वाले गांवों को बांट दिया गया है।

बताया कि इन श्रेणियों के आधार पर हर गांवों में प्रशासनिक स्तर पर कार्य किए जाएंगे। कहा कि अतिसंवेदनशील गांवों में वो गांव आते हैं, जो हर बाढ़ में सबसे पहले घिर जाते हैं और अधिक नुकसान का शिकार होते हैं। वहीं न्यूनतम में वो गांव आते हैं, जहां बाढ़ के दौरान स्थिति कुछ हद तक सामान्य रहती है। कहा कि बाढ़ में सभी जिम्मेदार विभागों की ड्यूटी लगा दी गई है। साथ ही जिला स्तर पर एक हेल्पलाइन नंबर भी जारी किया जाएगा, जिस पर किसी समस्या में होने पर फोन कर सूचना दी जा सकेगी। कहा कि बाढ़ के दौरान किसी तरह की अफवाह फैलाने की बजाय तत्काल इन नंबरों पर सूचना दें। कहा कि एक अफवाह से किसी और से अधिक गांव के लोगों का ही नुकसान होता है। ऐसे में इनसे बचें। कहा कि नावों पर नंबरिंग आदि करा दी गई है। आपदा मित्रों सहित गोताखोरों संग बैठक हो चुकी है। वो हर वक्त बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में तैयार रहेंगे। किसानों ने बताया कि उनकी वही फसलें बाढ़ में नुकसान हो जाती हैं, जो सीवान क्षेत्रों में हैं। गांवों के खेतों में मौजूद फसलों को सुरक्षित कर लिया जाता है। चौपाल के पश्चात उन्होंने गोरखा स्थित इंटर कॉलेज पर बनाई गई बाढ़ चौकी का भी निरीक्षण किया। कहा कि क्षेत्र में जहां भी बाढ़ चौकियां बनाई गई हैं, उन सभी का निरीक्षण किया जा रहा है। कहा कि बाढ़ पीड़ितों के आश्रय के लिए भी इंतजाम किए गए हैं। वहां उन्होंने पेयजल, बिजली, सफाई आदि की व्यवस्था देखी। कहा कि किसी तरह की विवाद की स्थिति पैदा होने पर उनका निस्तारण भी कराया जा रहा है। बताया कि गोरखा में भी एक विवाद होने पर उसका निस्तारण कराया गया। इस मौके पर नायब तहसीलदार विजयकांत पांडेय सहित चिकित्सा, पशुपालन, ब्लॉक, पुलिस व राजस्व विभाग के अधिकारी मौजूद रहे।
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